
नंगल। पंजाब और हरियाणा के बीच चल रहे जल विवाद के मध्य पंजाब-हरियाणा उच्च न्यायालय द्वारा पंजाब सरकार को केंद्र के आदेश मानने को कहने के बाद स्थिति उस समय तनाव पूर्ण हो गई, जब पंजाब के कैबिनेट मंत्री हरजोत सिंह बैंस और उनके समर्थकों ने गुरुवार को भाखड़ा व्यास प्रबंधक बोर्ड (बीबीएमबी) के अध्यक्ष मनोज त्रिपाठी को बंधक बना लिया। पुलिस ने कड़ी सुरक्षा के बीच श्री त्रिपाठी को बाहर निकाल कर चंडीगढ़ के लिए रवाना कर दिया है। पंजाब और हरियाणा के बीच चल रहे जल विवाद के बीच पंजाब-हरियाणा उच्च न्यायालय ने पंजाब सरकार को केंद्र के आदेश मानने को कहा था। इसके बाद गुरुवार सुबह बीबीएमबी के अध्यक्ष मनोज त्रिपाठी भाखड़ा डैम के लिए अपनी टीम के साथ रवाना हुए। वह हरियाणा को अतिरिक्त पानी दिलाने के लिए भाखड़ा के गेट खुलवाने के लिए पहुंच थे। इस बात की भनक लगते ही पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान भी भाखड़ा डैम के लिए रवाना हो गए हैं।
इस बीच, कैबिनेट मंत्री हरजोत सिंह बैंस और उनके समर्थकों ने बांध पर पहुंच कर धरना लगा दिया। लोगों ने बीबीएमबी के अध्यक्ष मनोज त्रिपाठी को कमरे में बंद कर बाहर से ताला लगा दिया। श्री बैंस ने ‘एक्स’ पर जानकारी देते हुए कहा, “नंगल डैम पर तत्काल और ठोस कार्रवाई करते हुए-हमने पंजाब के पानी को राज्य की सहमति के बिना छोड़ने के बीबीएमबी के अवैध प्रयास को सफलतापूर्वक रोक दिया है। जब तक माननीय मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान जी नंगल नहीं पहुंच जाते, तब तक आगे कोई करवाई नहीं होने दी जाएगी। पंजाब के पानी को लेकर कोई बातचीत करने लायक नहीं है।”
पुलिस उप महानिरीक्षक हरचरन सिंह भुल्लर ने बताया कि पुलिस ने श्री त्रिपाठी को सुरक्षित बाहर निकाल कर पुलिस सुरक्षा में चंडीगढ़ के लिए रवाना कर दिया है। उन्होंने कहा कि यहां लोगों का भारी हजूम इकट्ठा हो गया है, जिन्होंने श्री त्रिपाठी को कमरे में बंद कर दिया था। उन्होंने कहा कि श्री त्रिपाठी ने बताया कि वह चंडीगढ़ पहुंच कर मुख्यमंत्री भगवंत मान से बैठक करेंगे।
पंजाब एवं हरियाणा के बीच चल रहे जल विवाद के बीच पंजाब-हरियाणा उच्च न्यायालय ने पंजाब सरकार को भारत सरकार के गृह सचिव की अध्यक्षता में दो मई को हुई बैठक के निर्णय का पालन करने का आदेश दिया था। इसमें हरियाणा के लिए 4500 क्यूसेक अतिरिक्त पानी छोड़ने का फैसला हुआ था। न्यायालय ने अपने विस्तृत फैसले में कहा कि भाखड़ा नंगल बांध और लोहंड कंट्रोल रूम के संचालन में राज्य सरकारें हस्तक्षेप नहीं कर सकतीं। पंजाब ने कहा था कि हरियाणा और राजस्थान अपनी तय हिस्सेदारी से अधिक पानी मांग रहे हैं।