फिरोजपुर, 1 अगस्त( )
जहां मां का दूध बच्चे के मस्तिष्क के विकास में मदद करता है, वहीं स्तनपान कराने से मां और बच्चे में कैंसर जैसी खतरनाक बीमारियों का खतरा कम हो जाता है और बीपी, मधुमेह आदि बीमारियों से बचाव होता है। यह उद्गार सिविल सर्जन डाॅ. राजविंदर कौर द्वारा विश्व स्तनपान सप्ताह के उत्सव की शुरुआत के अवसर पर किया गया। इस अवसर पर सिविल सर्जन, कार्यक्रम पदाधिकारी एवं मास मीडिया विंग द्वारा विश्व स्तनपान सप्ताह के संबंध में जागरूकता पोस्टर का भी विमोचन किया गया।
इस अवसर पर सिविल सर्जन ने कहा कि नई पीढ़ी को स्वस्थ बनाने के लिए स्वास्थ्य विभाग द्वारा जिले के अस्पतालों में विश्व स्तनपान सप्ताह मनाया जा रहा है, जिसके तहत महिलाओं एवं स्तनपान कराने वाली माताओं को स्तनपान के महत्व के बारे में जानकारी दी जा रही है. बच्चों के अच्छे स्वास्थ्य के लिए दी जा रही है जानकारी.
इस मौके पर जिला मास मीडिया अधिकारी संजीव शर्मा ने कहा कि मां का दूध बच्चे के लिए अमृत के समान है और यह बच्चे को बीमारियों से लड़ने की ताकत देता है। उन्होंने कहा कि विज्ञान से यह तथ्य सामने आया है कि बच्चे को मां का दूध पिलाने से कैंसर जैसी घातक बीमारी से दोनों जीवों को बचाया जा सकता है और बच्चों में मोटापा, मधुमेह और रक्तचाप जैसी बीमारियों का खतरा भी काफी कम हो जाता है। उन्होंने कहा कि नवजात शिशु को छह माह तक सिर्फ मां का दूध ही देना चाहिए.
इस मौके पर डिप्टी मास मीडिया ऑफिसर नेहा भंडारी और संदीप वालिया ने नई पीढ़ी को घर पर मां के हाथ का बना खाना खाने की सलाह देते हुए जंक फूड/फास्ट फूड से परहेज करने की सलाह दी। इस अवसर पर उन्होंने उपस्थित लोगों को देश की बढ़ती जनसंख्या को ध्यान में रखते हुए केवल दो बच्चे पैदा करने के लिए प्रोत्साहित किया और कहा कि आधुनिक समय में लड़कियां किसी भी तरह से लड़कों से कम नहीं हैं, इसलिए लड़के और लड़कियों में कोई अंतर नहीं होना चाहिए . उन्होंने कहा कि बच्चे के संतुलित विकास के लिए मां के दूध के महत्व पर जोर दिया. इस अवसर पर जिला टीकाकरण पदाधिकारी डाॅ. डॉ. मीनाक्षी अबरोल, सहायक सिविल सर्जन। सुषमा ठक्कर, डॉ. रमन गुप्ता एसएमओ ममदोट, सुपरिंटेंडेंट परमवीर मोंगा, विकास कालरा पीए, संजीव बहल, आशीष भंडारी और अन्य स्टाफ भी मौजूद था।